Main Points In Hindi (मुख्य बातें – हिंदी में)
मुख्य बिंदु:
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जन कल्याण के प्रति संवेदनशीलता: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ राज्य के लोगों के कल्याण के प्रति हमेशा संवेदनशील रहते हैं, और हाल ही में एक मामले में उनकी यह संवेदनशीलता दिखाई दी।
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UIDAI का निर्णय: यूनिक आइडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया (UIDAI) ने 31 अक्टूबर को L-0 फिंगरप्रिंट डिवाइस को बंद करने का आदेश दिया, जिसके कारण 35 हजार से अधिक BC सखियों की वित्तीय लेनदेन प्रभावित हुआ।
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सीएम की कार्रवाई: CM योगी ने मामले को सुलझाने के लिए अधिकारियों को UIDAI से बात करने का निर्देश दिया, जिसके परिणामस्वरूप सीएम सचिव ने UIDAI अधिकारियों से बातचीत की।
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पुराने डिवाइस का पुनः चालू होना: UIDAI ने 6 नवंबर को पुराने डिवाइस को फिर से चालू किया, जिससे BC सखियों के लेनदेन प्रारंभ हो गए और उन्होंने CM योगी के प्रति धन्यवाद व्यक्त किया।
- लीडरशिप का महत्व: मुख्यमंत्री की तुरंत कार्रवाई ने प्रभावित लोगों की समस्याओं का समाधान किया, जो उनकी प्रभावी लीडरशिप और जन सेवा की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
Main Points In English(मुख्य बातें – अंग्रेज़ी में)
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Sensitivity to Public Welfare: Chief Minister Yogi Adityanath demonstrates a strong commitment to the welfare of the people in his state, as evidenced by his quick response to issues affecting citizens.
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Impact of UIDAI’s Directive: The Unique Identification Authority of India (UIDAI) ordered the shutdown of the L-0 fingerprint sensing devices on October 31, which adversely affected over 35,000 BC Sakhis and 3 crore people reliant on these transactions.
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Restoration of Services: Upon learning of the disruption caused by UIDAI’s decision, CM Yogi instructed officials to communicate with UIDAI to find a solution. Consequently, the old L-0 devices were reinstated on November 6, allowing transactions to resume.
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Training Issues with New Devices: The lack of training on the replacement L-1 devices contributed to the disruption, as BC Sakhis were unprepared to handle transactions with the new equipment.
- Positive Response from Beneficiaries: Following the reinstatement of the old devices, BC Sakhis expressed their gratitude to CM Yogi for his intervention, which highlighted the importance of swift governmental action in addressing the needs of the community.
Complete News In Hindi(पूरी खबर – हिंदी में)
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हमेशा राज्य के लोगों की भलाई के प्रति संवेदनशील रहते हैं। हाल ही में एक मामला सामने आया है, जिसमें यूनिक आइडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया (UIDAI) ने फिंगरप्रिंट मशीन के L-0 डिवाइस को बंद करने का आदेश दिया, लेकिन इसके लिए कोई अन्य विकल्प नहीं दिया। इस पर मुख्यमंत्री योगी ने अधिकारियों को UIDAI से बात करके समस्या को तुरंत हल करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री के निर्देश पर मुख्य सचिव ने विभाग के उच्च अधिकारियों से बात की और डिवाइस को फिर से चालू करवा दिया। बता दें कि UIDAI के इस निर्णय से राज्य के 3 करोड़ लोगों, जिसमें 35 हजार से ज्यादा BC सखी शामिल हैं, प्रभावित हुए थे।
BC साखियों के लेन-देन पर असर
मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने बताया कि 35 हजार से ज्यादा BC सखियाँ राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन से जुड़ी हैं, जो रोजाना 40 करोड़ रुपये से ज्यादा के वित्तीय लेन-देन करती हैं। इनके लिए UIDAI द्वारा L-0 फिंगरप्रिंट डिवाइस प्रदान किया गया था, जिससे BC सखी लेन-देन के लिए आधार प्रमाणीकरण करती हैं। लेकिन UIDAI ने 31 अक्टूबर को L-0 डिवाइस के 19 मॉडल को 10 कंपनियों के लिए बैन कर दिया।
31 अक्टूबर को बंद हुआ था
UIDAI के आदेशानुसार, ये डिवाइस 31 अक्टूबर को बंद कर दिए गए। इनकी जगह L-1 डिवाइस का उपयोग किया जाना था, लेकिन इसके लिए ट्रेनिंग नहीं दी गई। इससे 35 हजार BC सखी के लेन-देन प्रभावित हुए। जब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को इस बारे में जानकारी मिली, तो उन्होंने मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह को UIDAI अधिकारियों से बात करने का निर्देश दिया।
पुरानी डिवाइस पर फिर से काम शुरू
मुख्यमंत्री योगी के निर्देश पर मुख्य सचिव ने UIDAI अधिकारियों से बातचीत की। उन्होंने बताया कि L-1 डिवाइस के संचालन के लिए अब तक ट्रेनिंग नहीं दी गई थी, जिससे BC सखियों के लेन-देन प्रभावित हुए थे। BC सखियाँ अभी नई मशीन भी नहीं खरीद सकीं। ऐसी स्थिति में, पुरानी डिवाइस को फिर से चालू करने का अनुरोध किया गया। इस मुद्दे की गंभीरता को समझते हुए UIDAI अधिकारियों ने 6 नवंबर को पुरानी डिवाइस को फिर से शुरू कर दिया, जिसके बाद लेन-देन शुरू हुए। BC सखियों ने पुरानी डिवाइस के फिर से चालू होने की जानकारी मिलने पर मुख्यमंत्री योगी का धन्यवाद किया।
Complete News In English(पूरी खबर – अंग्रेज़ी में)
Chief Minister Yogi Adityanath is always sensitive about the welfare of the people of the state. This sensitivity of his is often seen. One such case has come to light recently, in which the Unique Identification Authority of India (UIDAI) directed to shut down the L-0 device of the fingerprint sensing machine, but did not give any other option in its place. On this, CM Yogi instructed the officials to resolve the matter as soon as possible after talking to UIDAI. On the instructions of the CM, the Chief Secretary talked to the higher officials of the department and got the device started again. Let us tell you that a total of 3 crore people including more than 35 thousand BC Sakhi of the state were affected by the decision of UIDAI.
Transactions of BC Sakhis were affected
Chief Secretary Manoj Kumar Singh said that more than 35 thousand BC Sakhis are associated with the National Rural Livelihood Mission, who conduct financial transactions of more than Rs 40 crore daily. He has been given fingerprint device L-0 by UIDAI for transactions. Through this, BC Sakhi does Aadhaar authentication for transactions, but UIDAI issued an order on October 31 banning 19 models of 10 companies using L-0 devices.
Was closed on 31st October
On the orders of UIDAI, these devices were discontinued on 31 October. L-0 devices were to be used in their place, but their training was not given. Due to this, transactions of more than 35 thousand BC Sakhis were affected. When Chief Minister Yogi Adityanath came to know about the matter, he instructed Chief Secretary Manoj Kumar Singh to talk to UIDAI officials to find a solution to the problem.
Work started again on old device
On the instructions of CM Yogi, the Chief Secretary spoke to UIDAI officials. He told that till now training for operation of L-1 has not been given, due to which the transactions of BC Sakhis are being affected. Also, BC Sakhi is not able to buy the new machine at present. In such a situation, a request was made to restart the old device. Understanding the seriousness of the matter, UIDAI officials restarted the old device on November 6, after which transactions started. BC Sakhis expressed their gratitude to CM Yogi after knowing about the resumption of the old device.